कोटद्वार-पौड़ी और कोटद्वार-नजीबाबाद के बीच जगह-2 पर ध्वस्त हुआ हाईवे
कोटद्वार पुलिस ने हरिद्वार, देहरादून, मेरठ, दिल्ली और एनसीआर जाने वाले वाहनों का रूट डायवर्ट कर यातायात को वैकल्पिक मार्गों से सुचारू कराया।

कोटद्वार 01 जुलाई 2025: कोटद्वार से नजीबाबाद होकर दिल्ली-एनसीआर और अन्य राज्यों को जाने वाले यात्रियों की मुश्किलें कई गुना बढ़ गईं। मेरठ-पौड़ी हाईवे 119 पर बरसाती नालों में पानी के तेज बहाव से दो स्थानों पर सड़क ध्वस्त हो गई। स्थिति ऐसी थी कि बचाव कार्य तुरंत संभव नहीं हो पा रहा था। घंटों तक लगे जाम के बाद कोटद्वार पुलिस ने हरिद्वार, देहरादून, मेरठ, दिल्ली और एनसीआर जाने वाले वाहनों का रूट डायवर्ट कर यातायात को वैकल्पिक मार्गों से सुचारू कराया।
सुखरो पुल और जाफराबाद पुलिस चैकी के बीच भी रास्ता कटने से हाईवे का यातायात बंद हो गया था। स्थिति और बिगड़ गई जब नजीबाबाद मार्ग पर खैरा ढाबा के पास बरसाती नाले में आए उफान से निर्माणाधीन पुल के नीचे बनाया गया वैकल्पिक मार्ग बह गया। कोटद्वार-नजीबाबाद के बीच दो जगहों पर हाईवे पूरी तरह ध्वस्त होने से यातायात ठप हो गया। लगभग पांच-छह किलोमीटर के फासले पर दो जगह सड़क टूटने के कारण दर्जनों वाहन बीच में फंस गए और हाईवे पर कई किलोमीटर लंबा जाम लग गया। मौके पर बचाव दल और जेसीबी मशीनें मौजूद थीं, लेकिन नाले में पानी का तेज बहाव वैकल्पिक मार्ग बनाने में बाधा बन रहा था।
कोटद्वार-पौड़ी राष्ट्रीय राजमार्ग पर गुमखाल के पास बैरगांव में पहाड़ी से भारी मात्रा में मलबा और बोल्डर सड़क पर गिरने से मार्ग पूरी तरह से बाधित हो गया है। साफ तौर पर देखा जा सकता है कि कैसे चंद सेकेंड में सड़क पर बड़े-बड़े पत्थर और मिट्टी के ढेर ने यातायात को पूरी तरह रोक दिया है। संबंधित एजेंसियां मशीनों के जरिए मार्ग को खोलने में जुटी हैं, लेकिन बारिश और लगातार मलबा गिरने से काम में चुनौतियां आ रही हैं। पौड़ी पुलिस प्रशासन ने सभी यात्रियों से अपील की है कि वो सतर्क रहें और सावधानीपूर्वक वाहन चलाएं। खासकर बरसात के मौसम में इस मार्ग पर भूस्खलन का खतरा बना रहता है। संबंधित कार्यदायी संस्थाएं मार्ग को जल्द से जल्द खोलने के लिए कार्य कर रही हैं। प्रशासन ने यात्रियों को वैकल्पिक मार्गों का उपयोग करने की भी सलाह दी है।
सड़कें बंद होने से रोडवेज बसों के पहिये थम गए, जिससे सैकड़ों यात्री परेशान हुए। कोटद्वार से नोएडा, गुरुग्राम, फरीदाबाद, जयपुर, पटियाला, चंडीगढ़ और अमृतसर के लिए चलने वाली सभी बसें सुबह 10ः30 बजे से देर शाम तक बस अड्डे पर ही खड़ी रहीं। रोडवेज के एआरएम अनुराग पुरोहित स्वयं मौके पर मौजूद रहकर स्थिति पर नजर बनाए हुए थे। हालांकि, डिपो प्रशासन को थोड़ी राहत मिली कि सड़क ध्वस्त होने से पहले कोटद्वार से दिल्ली के लिए तड़के ही पांच बसें निकल चुकी थीं। लेकिन, अन्य राज्यों से जुड़ी बसें न निकल पाने के कारण यात्रियों की समस्या बनी रही।